देहरादून । उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ दो दिवसीय दौरे पर भगवान केदार और बद्रीविशाल के दर्शनों के लिए उत्तराखंड आए और उन्होंने बद्रीनाथ में उत्तर प्रदेश पर्यटक आवास का शिलान्यास का कार्यकर्म भी था । इस दौरान आम आदमी पार्टी के प्रदेश उपाध्यक्ष ,मेजर जनरल जखमोला (रिट.), ने एक बयान जारी करते हुए कहा, कि उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के बंटवारे के 20 साल पूरे होने के बावजूद भी परिसंपत्तियों का पूर्ण बंटवारा अब तक नहीं हो पाया है जबकि मुख्यमंत्री योगी ने केदारनाथ में कहा,परिसंपत्तियों के मामले लगभग पूरे हो गए हैं। हकीकत ये है कि आज भी उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश में परिवहन, सिंचाई, आवास, वन निगम, उर्जा विभाग समेत कई ऐसी संपत्तियां हैं जिनका हस्तांतरण या पूर्ण हक़ उत्तर प्रदेश से उत्तराखंड को नहीं मिला है जिससे,इनसे होने वाले राजस्व पर उत्तर प्रदेश का सरकारी खजाना तो भर रहा जबकि उत्तराखंड पिछले 20 सालों से यूपी की तरह मुंह उठाए इंतज़ार में है कि कब उसका पूरा हक़ यहां के लोगों को मिलेगा।
9 नवंबर 2000 को उत्तराखंड का गठन हुआ था और तब से लेकर आज तक प्रदेश को बने पूरे 20 वर्ष हो चुके हैं। लेकिन ऐसी कोई भी सरकार इस प्रदेश में नहीं आई जिसने इस बंटवारे को गंभीरता से लिया हो। मौजूदा त्रिवेंद्र सरकार भी इस मामले में गंभीर नजर नहीं आ रही है। सरकार के 4 साल के कार्यकाल पूर्ण होने पर भी आज तक परिसंपत्तियों का विवाद लगभग जस का तस बना हुआ है। त्रिवेंद्र सरकार अभी तक अपनी कुंभकरण की नींद से नहीं जागी है। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ अपने दो दिवसीय दौरे पर उत्तराखंड आए हुए थे लेकिन बड़े अफसोस की बात है कि वो भी इस पूरे मामले में परिसंपत्तियों का बंटवारा लगभग हो चुका ये बात कह रहे जबकि प्रदेश सरकार ने इस मामले में उसके बाद अब तक कोई गंभीरता नहीं दिखाई। आप पार्टी उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री से यह मांग करती है की परिसंपत्ति मामले में गंभीर कदम उठाए जाएं और अभी भी कई मामले उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के बीच लंबित है जिन्हें जल्द से जल्द पूरा किया जाय,ताकि उत्तराखंड को उसकी परिसंपत्तियों के साथ-साथ आने वाले समय में उसका राजस्व भी प्राप्त हो सके।
मेजर जनरल जखमोला (रिट.), ने कहा,अभी उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड दोनों में बीजेपी की सरकारें हैं और ये मामला पिछले 20 सालों से लंबित है अगर इस समय दोनों ही सरकारें मिलकर इस मामले को नहीं सुलझा पाती, तो यह बीजेपी की नाकामी होगी, इन दोनों सरकारों की नाकामी होगी । जिसका परिणाम उत्तराखंड की जनता भुगत रही है। आम आदमी पार्टी का कहना है, यही, सही समय है दोनों सरकारों के लिए ,जब दोनों मुख्यमंत्री आपस में बैठकर जितने भी लंबित परिसंपत्तियों के मामले हैं उनका जल्द से जल्द, निराकरण कर प्रदेश की जनता को उसका हक दें। नहीं तो आम आदमी पार्टी परिसंपत्तियों को लेकर उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड दोनों जगह आंदोलन करने को मजबूर होगी।